कोरोना से बचाव के लिए सनातनी परम्पराओं को आत्मसात करे हिन्दू समाज - सन्तोष शर्मा
आगरा ब्यूरो । पाश्चात्य सभ्यता के समर्थकों ने सनातन संस्कृति और उसकी परंपराओं को सदैव हेय दृष्टि से देखा और आधुनिकता की चकाचौंध में पिछड़े पन की निशानी और गवारो की संस्कृति माना और समय समय पर उपहास उड़ाते रहे। जब कोरोना नामक महामारी ने वैश्विक स्तर पर पैर पसारे और मानव जीवन को निगलने का क्रम आरंभ किया तो पश्चात जगत को सनातन संस्कृति का महत्व ज्ञात हुआ और हाथ मिलाकर अभिवादन करने के स्थान पर नमस्कार करने की सदियों पुरानी परंपरा और मांसाहार के स्थान पर सनातनी शाकाहार परम्परा को वैश्विक स्तर पर आत्मसात करने की होड़ लग गई। और यह सनातनी प्राचीन परंपराएं ही कोरोना से बचाव और स्वस्थ रहने का एक मात्र विकल्प सिद्ध हुई। संपूर्ण विश्व आज सनातन संस्कृति और परंपराओं को आत्मसात करने पर विवश हुआ। यह उद्गार भाजपा समर्थक मोर्चा के बृज क्षेत्र अध्यक्ष संतोष शर्मा ने व्यक्त किए। उन्होंने कहा कि भारतीय जनमानस ने अपनी सनातनी परंपराओं को विस्मृत कर पाश्चात्य सभ्यता का अनुसरण किया होता तो भारत में कोरोना से एक भी व्यक्ति पीड़ित नहीं होता। सन्तोष शर्मा ने आश्चर्य प्रकट करते हुए कहा कि भारत में आज भी एसे नागरिकों की कमी नहीं है जो नमस्कार के स्थान पर हाथ मिलाकर अभिवादन करने की परंपरा का मोह त्याग नहींं पाए है। और जाने अंजाने स्वयं और अपने आस पास के नागरिकों की जान जोखिम में डाल रहे हैं। सन्तोष शर्मा ने कहा कि भाजपा समर्थक मोर्चा के राष्ट्रीय महासचिव माननीय रविन्द्र सिंह तोमर और उत्तर प्रदेश सदस्यता प्रभारी श्री सुनील शर्मा जी के निर्देशों पर उत्तर प्रदेश में नमस्कार की संस्कृति और शाकाहार की परंपरा को अपनाने के लिए प्रदेश के सभी नागरिकों को प्रेरित करने के लिए अभियान आरंभ किया जाएगा। इस अभियान की कमान युवा भाजपा नेता विजय सिकरवार और आकाश कुमार को सौपी है। सन्तोष शर्मा ने कहा कि यह अभियान संपूर्ण भारत वर्ष के लिए प्रेरणा सिद्ध होगा। और देश के अन्य राज्यों में भाजपा समर्थक मोर्चा इसी तरह का अभियान आरंभ कर देश और देशवासियों को कोरोना से मुक्त कराने में अपनी भूमिका से न्याय करेगा।
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